Close

Kids Story… उल्लू और बाज़ की कहानी: धोखा (The Story Of Owl And Falcon: Betrayal)

The Story Of Owl And Falcon, Betrayal
Kids Story... उल्लू और बाज़ की कहानी: धोखा (The Story Of Owl And Falcon: Betrayal)
एक बार उल्लू और बाज़ में दोस्ती हो जाती है. दोनों साथ बैठकर ख़ूब बातें करते. बाज़ ने उल्लू से कहा कि अब जब हम दोस्त बन ही गए हैं, तो मैं तुम्हारे बच्चों पर कभी हमला नहीं करूंगा और न ही उन्हें मारकर खाऊंगा. लेकिन मेरी समस्या यह है कि मैं उन्हें पहचानूंगा कैसे कि ये तुम्हारे ही बच्चे हैं? उल्लू ने कहा कि तुम्हारा बहुत-बहुत शक्रिया दोस्त. मेरे बच्चों को पहचानना कौन-सा मुश्किल है भला. वो बेहद ख़ूबसूरत हैं, उनके सुनहरे पंख हैं और उनकी आवाज़ एकदम मीठी-मधुर है. बाज़ ने कहा ठीक है दोस्त, मैं अब चला अपने लिए भोजन ढूंढ़ने. बाज़ उड़ते हुए एक पेड़ के पास गया. वहां उसने एक घोसले में चार बच्चे देखे. उनका रंग काला था, वो ज़ोर-ज़ोर से कर्कश आवाज़ में चिल्ला रहे थे. बाज़ ने सोचा न तो इनका रंग सुनहरा, न पंख, न ही आवाज़ मीठी-मधुर, तो ये मेरे दोस्त उल्लू के बच्चे तो हो ही नहीं सकते. मैं इन्हें खा लेता हूं. बाज़ ने उन बच्चों को खा लिया. यह भी पढ़ें: विक्रम-बेताल की कहानी- पति कौन? यह भी पढ़ें: Fairy Tales: द लिटिल मरमेड… नन्हीं जलपरी इतने में ही उल्लू उड़ते हुए वहां पहुंचा और उसने कहा कि ये क्या किया, ये तो मेरे बच्चे थे. बाज़ हैरान था कि उल्लू ने उससे झूठ बोलकर उसकी दोस्ती को भी धोखा दिया. वो वहां से चला गया. उल्लू मातम मना रहा था कि तभी एक कौआ आया और उसने कहा कि अब रोने से क्या फ़ायदा, तुमने बाज़ से झूठ बोला, अपनी असली पहचान छिपाई और इसी की तुम्हें सज़ा मिली. सीख: कभी भी अपनी असली पहचान छिपाने की भूल नहीं करनी चाहिए. न ही दोस्तों को धोखा देने की कोशिश करनी चाहिए.

Share this article

https://www.perkemi.org/ Slot Gacor Slot Gacor Slot Gacor Slot Gacor Situs Slot Resmi https://htp.ac.id/ Slot Gacor Slot Gacor Slot Gacor Slot Gacor Slot Gacor Slot Gacor Slot Gacor https://pertanian.hsu.go.id/vendor/ https://onlineradio.jatengprov.go.id/media/ slot 777 Gacor https://www.opdagverden.dk/ https://perpustakaan.unhasa.ac.id/info/ https://perpustakaan.unhasa.ac.id/vendor/ https://www.unhasa.ac.id/demoslt/ https://mariposa.tw/ https://archvizone.com/