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क्या आपके शरीर में आयरन की कमी है? (Signs and Symptoms of Iron Deficiency)
मिनरल्स, विटामिन व प्रोटीन जैसे पोषक तत्व हमारे शरीर को स्वस्थ बनाए रखते हैं. इनकी कमी होने पर व्यक्ति को कई तरह की स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं का सामना करना पड़ता है. आयरन भी शरीर के लिए बेहद ज़रूरी है. आयरन शरीर को स्वस्थ रखने, लाल रक्त कोशिकाओं को बनाने और मांसपेशियो को
प्रोटीन पहुंचाने का काम करता है. शरीर में इसकी मात्रा कम होने पर ख़ून की कमी होने लगती हैं, जिसके कारण किडनी, कैंसर, कुपोषण व एनीमिया जैसी कई स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं व बीमारियां होती हैं. पौष्टिक आहार न लेनेे या किसी बीमारी के कारण शरीर में आयरन की कमी हो सकती है. हम आपको आयरन की कमी के कुछ प्रमुख संकेत बता रहे हैं.
अत्यधिक थकानः थकान आयरन की कमी का प्रमुख संकेत है. शरीर में आयरन की कमी होने पर लाल रक्त कोशिकाओं में हीमोग्लोबिन का उत्पादन कम हो जाता है. हीमोग्लोबिन फेफड़ों व शरीर के अन्य अंगों तक ऑक्सिजन पहुंचाने का काम करता है. जब शरीर में हीमोग्लोबिन की कमी होती है तो मांसपेशियों और अन्य कोशिकाओं तक ऑक्सिज़न नहीं पहुंच पाता, नतीज़तन थकान महसूस होती है. थकान एक आम समस्या है इसलिए यह पता लगा पाना मुश्क़िल होता है कि थकान आयरन की कमी से हो रही है या फिर अन्य कारण से. यदि थकान के साथ कमज़ोरी, ऊर्जा की कमी, एकग्रता की कमी जैसी समस्याएं हों तो यह आयरन की कमी का संकेत है.
मुरझाई त्वचाः रक्त कोशिकाओं में मौजूद हीमोग्लोबिन हमारी त्वचा को सेहतमंद और लाल बनाए रखने में मदद करता है. आयरन की कमी होने पर हमारा शरीर रक्त कोशिकाओं में पर्याप्त मात्रा में हीमोग्लोबिन नहीं बना पाता, जिसके कारण त्वचा मुरझाई व बुझी हुई दिखती है. चाहे आपकी रंगत कैसी भी हो, अगर आपके होंठ, मसूढ़े, नाख़ून और आंखों का अंदरूनी हिस्सा सामान्य से कम लाल दिखाई दे तो इसका अर्थ हुआ कि आपके शरीर में आयरन की कमी है.
सांस चढ़ना या सीने में दर्दः कोई शारीरिक ऐक्टिविटी करने पर सांस चढ़ने लगे या सीने में दर्द हो तो यह आयरन की कमी का संकेत है. लाल रक्त कोशिकाओं में सीमित मात्रा में हीमोग्लोबिन होने के कारण शरीर के दूसरे अंगों तक ऑक्सिज़न की सप्लाई भी सीमित हो जाती है, जिससे अन्य अंगों तक ऑक्सिज़न पहुंचाने के लिए शरीर को ज़्यादा मेहनत करनी पड़ती है. इसके कारण सांस फूलने या सीने में दर्द की समस्या होती है.
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सिरदर्दः शरीर में आयरन की कमी होने पर सिरदर्द या माइग्रेन की समस्या हो सकती है. ऐसा इसलिए होता है, क्योंकि मस्तिष्क को पर्याप्त मात्रा में ऑक्सिज़न नहीं मिलता, जिसके कारण रक्त कोशिकाएं सूज जाती हैं, नतीज़तन मस्तिष्क पर ज़्यादा दबाव पड़ता है और सिरदर्द शुरू हो जाता है. इसके अलावा आयरन की कमी होने पर चक्कर भी आता है. जब शरीर में हीमोग्लोबिन का स्तर अचानक कम हो जाता है या लगातार बहुत दिनों तक कम रहता है तो शरीर ऑक्सिज़न प्राप्त करने के लिए बैचेन हो जाता है, जिसके कारण चक्कर आता है.
बार-बार इंफेक्शन होनाः आयरन हमारी रोग-प्रतिरोधक क्षमता को मज़बूत बनाने में मदद करता है. यही वजह है कि शरीर में आयरन की कमी होने पर बार-बार इंफेक्शन होता है. लाल रक्त कोशिकाएं शरीर में मौजूद लसीकाओं तक ऑक्सिज़न पहुंचाने का काम करती हैं. इन लसीकाओं में इंफेक्शन से लड़ने वाले व्हाइट ब्लड सेल्स होते हैं. जब किसी के शरीर में आयरन की कमी होती है, तो व्हाइट ब्लड सेल्स पर्याप्त मात्रा में नहीं बन पाते हैं और ऑक्सिज़न न मिल पाने के कारण वे स्ट्रॉन्ग नहीं रह पाते. नतीज़तन जल्दी इंफेक्शन पकड़ लेता है.
जीभ और मुंह में सूजनः मूंह देखकर बहुत से रोगों का अंदाज़ा लगाया जा सकता है, आयरन की कमी उनमें से एक है. उदाहरण के लिए यदि आपकी जीभ सूजी हुई है और उसका रंग बदला हुआ दिखाई दे तो इसका अर्थ हुआ कि आपके शरीर में आयरन की कमी है. जीभ की मासंपेशियों में मायग्लोबिन नामक प्रोटीन पाया जाता है. मायग्लोबिन का स्तर कम होने पर जीभ सूजी व फूली हुई नज़र आती है. आयरन की कमी होने से मुंह सूखने और फटने की समस्या भी होती है.
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