बिगड़ी लाइफस्टाइल, गलत खान-पान, स्ट्रेस, एंग्जाइटी आदि हमारी हेल्थ के साथ ही हमारी सेक्सुअल हेल्थ को भी प्रभावित कर रही है. ये छोटे-छोटे फैक्टर ब्लड प्रेशर, डायबिट़ीज, हार्ट प्रॉब्लम्स, मोटापा जैसी बड़ी बीमारियों का कारण बन रहे हैं और सेक्सुअल प्रॉब्लम्स के भी. खासकर मोटापा और इनएक्टिव लाइफस्टाइल ने सेक्सुअल लाइफ को बुरी तरह प्रभावित किया है.
ज़रा इन आंकड़ों पर गौर करें:
- नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ की रिसर्च में कहा गया है कि जो लोग मोटे होते हैं या जो लोग एक्सरसाइज़ नहीं करते, उनमें से 43 प्रतिशत महिलाएं और 31 प्रतिशत पुरुष किसी न किसी सेक्स प्रॉब्लम से पीड़ित होते हैं यानी कि जो लोग फिज़िकल एक्टिव नहीं रहते, उसका सीधा-सीधा असर उनकी सेक्सुअल हेल्थ पर होता है.
- रिसर्च में यह भी बताया गया है कि सेक्सुअल हेल्थ को सही रखने के लिए एक्सरसाइज़ ज़रूरी है. एक्सपर्ट पुरुष और महिला दोनों को किसी भी रूप में फिज़िकल एक्टिविटी या एक्सरसाइज़ करने की सलाह देते हैं. जो लोग हफ्ते में 2-3 दिन कम से कम 30 मिनिट एक्सरसाइज़ करते हैं, उनकी सेक्सुअल हेल्थ काफी अच्छी थी.
- द जर्नल ऑफ सेक्सुअल मेडिसिन में पब्लिश हुई स्टडी के मुताबिक, बड़ी तोंद वाले पुरुषों में इरेक्टाइल डिसफंक्शन होने की संभावना 50 प्रतिशत अधिक होती है. जबकि ऐसी 25 प्रतिशत महिलाओं में सेक्सुअल एक्टिविटी और परफॉर्मेंस में कमी देखी जाती है.
- द जर्नल ऑफ सेक्सुअल मेडिसिन में 2021 में पब्लिश हुई रिसर्च के मुताबिक, हर हफ्ते कम से कम 6 घंटे एक्सरसाइज़ करने वाली महिलाओं ने सेक्स की इच्छा, उत्तेजना, लुब्रिकेशन और ऑर्गेज्म महसूस किया.
एक्सरसाइज़ करने के सेक्स बेनेफिट्स
इसलिए अगर सेक्सुअल हेल्थ ठीक रखना चाहते हैं, तो एक्सरसाइज़ ज़रूर करें. आइए जानते हैं कि एक्सरसाइज़ आपके सेक्सुअल हेल्थ को किस तरह परफेक्ट बनाए रखता है.
- कोई भी एरोबिक एक्सरसाइज़ करने से ब्लड सर्कुलेशन बढ़ जाता है, जिससे पुरुषों को इरेक्शन में मदद मिलती है और महिलाओं में यह वजाइना लुब्रिकेशन और सेंसेशन में मदद करती है.
- जब कोई नियमित रूप से एक्सरसाइज़ करता है, तो उसमें एंड्यूरेंस यानी सहनशक्ति विकसित होती है, जो कि उसकी सेक्सुअल हेल्थ के लिए काफी फायदेमंद होती है. नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ की एक स्टडी के मुताबिक, आधे घंटे की सेक्सुअल एक्टिविटी पुरुषों में 125 कैलोरी और महिलाओं में लगभग 100 कैलोरी बर्न कर सकती है. तो सेक्स अपने आप में एक बहुत अच्छी एक्सरसाइज है.
- एक्सरसाइज़ करने के दौरान व्यक्ति एक हेल्दी डायट प्लान फॉलो करता है, जिससे वह पहले से अधिक फिट और लीन होने लगता है. ऐसा करने से उसमें कॉन्फिडेंस बढ़ता है. एक रिसर्च के मुताबिक, महिलाओं को कॉन्फिडेंस वाले पुरुष अधिक रोमांटिक लगते हैं और ऐसे लोग ही उन्हें अधिक पसंद होते हैं. तो अगर पुरुष चाहते हैं कि उनकी पार्टनर उनकी ओर सेक्सुअली अट्रैक्ट हों, तो आज से हो एक्सरसाइज़ शुरू कर दें.
- स्ट्रेस या एंग्जाइटी से सेक्सुअल हेल्थ पर नकारात्मक प्रभाव होता है. लेकिन एक्सरसाइज़ करने से स्ट्रेस, चिंता और डिप्रेशन कम होता है, जो एक अच्छी सेक्स ड्राइव में मदद करती है. इसके साथ ही एक्सरसाइज़ करने से ब्लड प्रेशर मेंटेन रहता है, डायबिटीज़ जैसी गंभीर बीमारी से बचाव होता है और ओवरऑल हेल्थ भी सही रहती है.
कितनी एक्सरसाइज़ करना सही है?
एक्सपर्ट्स का कहना है कि नियमित रूप से वॉकिंग, जॉगिंग, एरोबिक्स, वेट ट्रेनिंग आदि एक्सरसाइज़ सेक्सुअल हेल्थ में सुधार कर सकती हैं. रोजाना 20-30 मिनट की किसी भी तरह की एक्सरसाइज़ सेक्सुअल हेल्थ में फायदा पहुंचा सकती है. इसके अलावा किसको कितनी एक्सरसाइज़ करनी चाहिए, यह हर व्यक्ति की हेल्थ कंडीशन, उसकी क्षमता पर निर्भर करता है. बेहतर होगा कि एक्सरसाइज़ शुरू करने से पहले अपने डॉक्टर को कंसल्ट कर लें.
सेक्सुअल हेल्थ को हल्के में न लें
फिज़िकली एक्टिव रहें और बैलेंस डायट लें. इससे आपकी कम्पलीट हेल्थ के साथ ही सेक्सुअल हेल्थ भी सही रहेगी. लेकिन अगर आपको सेक्स संबंधी कोई गंभीर परेशानी महसूस होती है, तो बेझिझक डॉक्टर से संपर्क करें और सही इलाज करवाएं. सेक्सुअल हेल्थ सच में एक बड़ी समस्या है और इससे दूसरी हेल्थ प्रॉब्लम की तरह ही निपटना चाहिए. ध्यान रखें कि हेल्दी सेक्स लाइफ मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य के साथ ही रिलेशनशिप को मजबूत करने में भी काफी मदद करता है.
सेक्सुअल हेल्थ के लिए ये एक्सरसाइज ज़रूर करें
योनि में कसाव लाता है कीगल एक्सरसाइज़: ये नाभि के नीचे से लेकर जेनिटल तक की मांसपेशियों को मजबूत बनाती है. इस एक्सरसाइज़ से शीघ्रपतन और इरेक्टाइल डिस्फंक्शन की समस्या में काफी फायदा होता है. कीगल एक्सरसाइज़ करने से महिलाओं की वजाइना में कसाव आता है. ये एक्सरसाइज़ नियमित रूप से लगभग 5 से 6 हफ्ते करें.
सेक्सुअल पावर बढ़ाता है प्लैंक पोज
यह एक्सरसाइज़ सेक्सुअल पॉवर बढ़ाने में मदद करती है. इससे अंदरूनी मांसपेशियां मजबूत होती हैं. इस एक्सरसाइज़ में पेट के बल लेटें. फिर कलाइयों के बल उठें और पैरों को अंगूठे से ऊपर की ओर उठाएं. इस पोजीशन में 1-2 मिनट के लिए बने रहें. धीरे-धीरे अवधि बढ़ाएं.
स्क्वेट्स से बढ़ाएं हैप्पी हार्मोन्स: स्क्वेट्स करने से टेस्टोस्टरॉन हार्मोंन्स का स्तर बढ़ता है. इसके अतिरिक्त पेल्विक फ्लोर की मांसपेशियों में रक्त प्रवाह अच्छी तरह से होता है. यदि नियमित रूप से ये एक्सरसाइज़ करें, तो शारीरिक शक्ति में भी वृद्धि होती है और इससे शरीर में हैप्पी हार्मोन्स भी बढ़ते हैं. इसके लिए सबसे पहले पैरों के बीच समान अंतर रखकर सीधे खड़े हो जाएं और दोनों हाथों को सामने की ओर खोलें. फिर अपने घुटनों को मोड़ें और कुर्सी पर बैठने जैसी मुद्रा में आ जाएं. यही प्रक्रिया 15-20 बार दोहराएं.
शरीर को मजबूती देगी पुशअप्स एक्सरसाइज़: पुशअप्स करने से शरीर के ऊपरी भाग को मजबूती मिलती है. इससे शरीर की सभी मांसपेशियां भी मजबूत होती हैं. नियमित रूप से पुशअप करने से सेक्स के दौरान थकान नहीं होती है. पुशअप्स करने के लिए मैट पर पेट के बल लेट जाएं. फिर हथेलियों के बल से रुककर शरीर को ऊपर उठाएं. फिर पैर के अंगूठे पर उठने की कोशिश करें. इसके बाद फिर नीचे आ जाएं. ऊपर-नीचे करने की प्रक्रिया को तब तक करें, जब तक थकान नहीं होती.
सेक्स एलर्टः ये दवाएं घटा सकती हैं महिलाओं की सेक्स इच्छा
- गर्भनिरोधक गोलियों का नियमित सेवन करने से कामेच्छा में कमी आ जाती है.
- स्त्रियों द्वारा नियमित एंटी डिप्रेशन औषधियों फ्लोएक्सटीन हाइड्रो क्लोराइड, एमीट्रिपटाइलिन हाइड्रोक्लोराइड आदि के इस्तेमाल करने से उनकी कामेच्छा कम हो जाती है.
- उच्च रक्तचाप की औषधियों के इस्तेमाल करने से स्त्रियों में कामेच्छा की कमी आने के अतिरिक्त उन्हें ऑर्गेज़्म की अवस्था तक पहुंचने में भी द़िक़्क़त हो सकती है.
- प्रोजेस्टिन हार्मोन भी महिलाओं के सेक्स ड्राइव को प्रभावित करती है.
- स्लिम बनने के लिए भूख कम करने के लिए इस्तेमाल की जाने वाली फेनफ्लूरामाइन हाइड्रोक्लोराइड दवाएं भूख को कम करने के साथ-साथ कामेच्छा को भी कम कर देती है.
- माइग्रेन के लिये इस्तेमाल की जाने वाली एरगोटामाइन (माइग्रानिल, एरगोफेन आदि) औषधियां सेक्स ड्राइव को भी दबा सकती हैं.