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घर बैठे पाएं इन बीमारियों से निजात (Easy Home Remedies To Get Rid of These Disease)
बड़ी-बड़ी बीमारियों, जैसे-हृदय रोग, कैंसर, स्ट्रोक इत्यादि में क्या खाना चाहिए और क्या नहीं? इस बारे में तो हम अक्सर सुनते रहते हैं, लेकिन अल्सर, मुंह से बदबू, सिरदर्द जैसी छोटी-छोटी समस्याओं के बारे में ज़्यादा बात नहीं की जाती. इन समस्याओं से निपटने के उपाय आपके किचन में भी उपलब्ध हैं.
सिरदर्द
सिरदर्द की समस्या बहुत आम है. कम से कम 10 लाख लोग इससे प्रभावित हैं. स्ट्रेस, डिप्रेशन, ग़लत पोश्चर, हार्मोन्स में असंतुलन व नींद की कमी इत्यादि के कारण यह समस्या होती है. इसके अलावा साइनसाइटिस के कारण भी सिरदर्द की समस्या होती है. शरीर में पानी की कमी, लो ब्लडशुगर व कभी-कभी कुछ विशेष प्रकार के खाद्य पदार्थों के सेवन के कारण भी सिरदर्द हो सकता है.
क्या करें? अगर आपको अक्सर सिरदर्द की समस्या होती है तो एक डायरी मेंटेन करें और उसमें कम से कम दो हफ़्तों तक अपने खाने-पीने की सभी डिटेल में लिखें. इससे आपको उस खाद्य पदार्थ के बारे में पता लगाने में आसानी होगी, जिसके कारण सिरदर्द की समस्या होती है. लो ब्लड शुगर के कारण भी अक्सर सिरदर्द होता है. इससे बचने के लिए नियमित समय पर खाना खाएं और खाने में हाई फाइबर स्टार्ची खाद्य पदार्थ, जैसे-आलू, ब्राउन राइस व पास्ता इत्यादि शामिल करें.
ध्यान रखेंः शरीर में पानी की कमी से बचने के लिए ढेर सारा पानी पीएं, ख़ासतौर पर गर्मी के मौसम में और एक्सरसाइज़ से पहले व बाद में. अल्कोहल और कुछ प्रकार के खाद्य पदार्थ, जैसे-चॉकलेट, कैफीन, चीज़ और सिट्रस फल खाने से भी सिरदर्द हो सकता है. अतः ऐसी चीज़ों से दूर रहें.
मुंह से बदबू
धूम्रपान, मसूढ़ों की बीमारी, गले में इंफेक्शन, साइनसाइटिस व डायबिटीज़ जैसी बीमारियों के कारण कुछ लोगों को मुंह से बदबू आने की समस्या होती है. दांतों में खाना फंस जाने पर बैक्टीरिया उसे ब्रेकडाउन करते हैं और फिर बदबूदार गैसेज़ निकालते हैं, जिसके कारण मुंह से बदबू आती है.
क्या करें? मुंह की बदबू दूर करने के लिए पुदीने की पत्तियां व पार्स्ले चबाना चाहिए. शुगर फ्री च्यूइंगम चबाने से भी फ़ायदा होता है, क्योंकि इससे मुंह में ज़्यादा लार बनता है, जो दांतों में फंसे हुए खाने के कणों को साफ़ कर देता है. इसके अलावा बिना शक्कर वाली दही खाने से काफ़ी फ़ायदा होता है. अध्ययनों से यह सिद्ध हुआ है कि दिन में दो बार शुगर फ्री दही का सेवन करने से मुंह से गंदी बदबू लानेवाली गैस 80 फ़ीसदी तक कम हो जाती है.
ध्यान रखेंः शरीर में पानी की कमी होने पर भी मुंह से बदबू आती है, इसलिए समुचित मात्रा में तरल पदार्थों का सेवन करें. बहुत ज़्यादा शक्कर का सेवन करने से दांतों में सड़न की समस्या होती है, जिसके कारण मुंह से बदबू आती है. लो-कार्ब डायट से भी मुंह से बदबू आती है, क्योंकि ऐसा खाना खाने पर शरीर ऊर्जा के लिए फैट ब्रेक करता है, जिससे कीटोन्स या केमिकल का प्रोडक्शन होता है, जो मुंह से बदबू आने की वजह
बनते हैं.
कब्ज़
सात में से एक व्यक्ति कब्ज़ की समस्या से परेशान है. इसके कारण पेट में दर्द, मरोड़, पेट फूलना व भूख न लगना, यहां तक कि बवासीर जैसी समस्याएं होती हैं. आमतौर खाने में फाइबर और तरल पदार्थ की कमी के कारण कब्ज़ की समस्या होती है.
क्या करें? स्ट्रॉबेरी जैसे फाइबर युक्त खाद्य पदार्थ का सेवन करने से कब्ज़ में आराम मिलता है. इसके अलावा छिलके सहित आलू, नट्स, ओट्स, दाल, चना इत्यादि का सेवन करने से भी फ़ायदा होता है. होलवीट पास्ता, ब्राउन ब्रेड इत्यादि भी अच्छे विकल्प हैं, क्योंकि इनमें इनसॉल्यूबल फाइबर की मात्रा अधिक होती है, जिससे मल मुलायम होता है और डायजेस्टिव सिस्टम में आसानी से मूूव होता है.
ध्यान रखेंः रोज़ाना 30 ग्राम फाइबर का सेवन करना ज़रूरी है. 100 ग्राम के प्रोडक्ट में कम से कम 6 ग्राम फाइबर होना ज़रूरी है. अतः धीरे-धीरे खाने में फाइबर की मात्रा बढ़ाएं, क्योंकि अचानक ज़्यादा फाइबर का सेवन करने से भी पेट फूलने, पेट में दर्द जैसी समस्याएं होती हैं.
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अपच
जब पेट में अत्यधिक एसिड एकत्रित हो जाता है तो वो भोजन-नलिका तक पहुंच जाता है, जिसके कारण जी मिचलाना, पेट भरा हुआ लगना, पेट फूलना व छाती के निचले हिस्से व गले में जलन जैसी समस्याएं होती हैं. अपच की समस्या कुछ प्रकार की दवाइयों के सेवन, स्ट्रेस, धूम्रपान, पेट में अल्सर, हार्निया, मोटापा व गर्भावस्था से अपच की समस्या होती है. इसके अलावा अत्यधिक खाने के कारण भी अपच की समस्या होती है, क्योंकि इससे पेट में प्रेशर व स्ट्रेच बढ़ता है.
क्या करें? अपच की समस्या दूर करने के लिए सबसे ज़रूरी है खाने पर नियंत्रण रखना. ज़रूरत से ज़्यादा खाना खाने से बचें और अपने पाचन तंत्र को आराम दें. शराब का सेवन सीमित मात्रा में करें और खाली पेट शराब पीने की ग़लती न करें. शोधों से यह सिद्ध हुआ है कि अदरक का सेवन करने से पेट साफ़ होने की प्रक्रिया तेज़ हो जाती है. इसके अलावा कैमोमाइल टी पीने से भी फ़ायदा होता है.
ध्यान रखेंः अपच की समस्या होने पर मसालेदार, तला-भुना खाना, चाय, कॉफी इत्यादि के अत्यधिक सेवन से तकलीफ बढ़ जाती है. अगर वज़न ज़्यादा हो तो कम करने की कोशिश करें और सोने से पहले गरिष्ठ भोजन करने से बचें. अगर फिर भी आराम न मिले तो डॉक्टर से संपर्क करें.
थकान
अनिद्रा और तनाव के कारण थकान और ऊर्जा की कमी महसूस होती है. इसके अलावा कुछ अन्य स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं, जैसे-डिप्रेशन, डायबिटीज़, थायरॉइड इत्यादि के कारण भी थकान होती है. शरीर में पानी की कमी और ग़लत खान-पान इसके अन्य कारण हैं.
क्या करें? सबसे पहले नियमित रूप से खाना शुरू करें और खाना स्किप करने की ग़लती न करें, क्योंकि ऐसा करने से ब्लड शुगर का स्तर नीचे चला जाता है, जिससे ऊर्जा की कमी महसूस होती है. सुबह का नाश्ता सबसे ज़रूरी होता है. इससे दिनभर काम करने की एनर्जी मिलती है. क्रैश डायटिंग, डिटॉक्स जूस, डायट्स इत्यादि से परहेज़ करें, क्योंकि इसमें कैलोरीज़ की मात्रा बहुत कम होती है. जिससे ऊर्जा का स्तर एकदम नीचे चला जाता है. लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि खा-खाकर मोटे हो जाएं, क्योंकि मोटे व्यक्ति को हर काम करने के लिए ज़्यादा प्रयास करना पड़ता है. इसलिए अपने खाने में संतुलन बनाए रखें. खाने में कार्बोहाइड्रेट शामिल करें, लेकिन नियंत्रित मात्रा में. इसके अलावा खाने में गाजर जैसे हाई फाइबर शामिल करें. शक्कर युक्त खाद्य पदार्थ से परहेज़ करें. इससे आपको इंस्टेंट एनर्जी तो मिलेगी, लेकिन बाद में एनर्जी लो हो जाएगी.
ध्यान रखेंः शरीर में पानी की कमी से भी थकान महसूस होती है. अतः ख़ूब पानी पीएं. एनर्जी ड्रिंक्स पीने में तो स्वादिष्ट लगते हैं, लेकिन उनमें कैलोरीज़ की मात्रा अधिक होती है, जिससे थोड़ी देर के लिए शुगर लेवल बढ़ता है, लेकिन बाद में दोबारा कम हो जाता है. अल्कोहल का सेवन भी सीमित मात्रा में करें, क्योंकि ज़्यादा शराब पीने से गहरी नींद नहीं आती, जिसके कारण थकान महसूस होती है.
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